सर्दी-खांसी ही नहीं, कई लोगों में कोरोना के बाद बहुत दिनों तक रह सकता है कमर और सिर में दर्द



नई दिल्ली। अगर किसी व्यक्ति को कोरोना हो जाता है तो आमतौर पर सर्दी, बुखार, खांसी, थकान आदि इसके प्रमुख लक्षण माने जाते हैं। हाल के दिनों में कोरोना के कई नए-नए लक्षण सामने आने लगे हैं। कुछ लोग कोरोना के बाद बहुत दिनों तक कमर दर्द और सिर में दर्द की शिकायत भी की है। विदेश में बैक पेन को लेकर कई अध्ययन सामने आए हैं, जिनमें कहा जा रहा है कि कोरोना के बाद के लॉन्ग सिंपटम यानी लंबे समय वाले लक्षणों में बैक पेन प्रमुख लक्षण बनकर उभर रहा है। एक्सपर्ट के मुताबिक कोरोना संक्रमण के बाद साइटोकाइनेस हार्मोन बहुत ज्यादा सक्रिय हो जाता है, जो दर्द का कारण बनता है। एक अध्ययन में पाया गया है कि कोरोना के डेल्टा वेरिएंट से पीड़ित 63 प्रतिशत और ओमिक्रॉन वेरिएंट से पीड़ित 42 प्रतिशत मरीजों में कोरोना के बाद कमर दर्द की शिकायत रहती है।

एशियन इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस फरीदाबाद में कंसल्टेंट डॉ चारू दत्त अरोड़ा का कहना है कि बैक पेन इन दिनों कोविड के बाद सबसे प्रमुख लक्षण के रूप में सामने आया है। डॉ चारू के अनुसार आमतौर पर लोग कोरोना वायरस को सांस संबंधी दिक्कतों से ही जोड़कर देखते हैं लेकिन लॉन्ग टाइम लक्षण में लग्स के अलावा कई और अंगों को यह प्रभावित करता है। डॉ अरोड़ा ने कहा कोरोना के बाद शरीर के तीन प्रमुख अंगों पर इसका असर सबसे ज्यादा होता है। इनमें लोअर बैक, मांसपेशियां और सिर प्रमुख है। उन्होंने कहा घुटनों के पास के मसल्स में सबसे ज्यादा दर्द होता है। डॉ अरोड़ा ने कहा कोविड-19 संक्रमण साइटोकाइनेस हार्मोन को सक्रिय कर देता है। साइटोकाइनेस की प्रकृति प्रो इंफ्लामेटरी किस्म की है। यानी इस हार्मोन के ज्यादा रिलीज होने से कोशिकाओं में सूजन बनने की आशंका ज्यादा हो जाती है।

साइटोकाइनेस प्रोस्टाग्लेडिन रसायन बनाता है। इसे ई-2 भी कहा जाता है। प्रोस्टाग्लेडिन दिमाग में दर्द के संदेश को सक्रिय कर देता है। यह एक तरह से दर्द का सिग्नल है। इससे शरीर में दर्द होने लगता है। डॉ चारू के अनुसार सिर दर्द और लोअर बैक पैन वायरस के संक्रमण के शुरुआती लक्षणों में हैं। संक्रमण के बाद यह चार-पांच दिनों तक रहता है। लेकिन लॉन्ग कोविड लक्षणों में भी बैक पेन प्रमुख लक्षण है। यह संक्रमण के छह से नौ महीनों तक मरीज को परेशान कर सकता है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि कोविड वायरस के कारण इंफ्लामेटरी संदेश सक्रिय हो जाता है।