शाह की कांग्रेस को चुनौती, जितना चाहे विरोध कर लो, प्रताड़ित होकर आएं लोगों को नागरिकता देकर रहेंगे 


सीएए कानून पर पीछे नहीं हटने वाली मोदी सरकार 
जबलपुर । नागरिकता संशोधन कानून को लेकर आक्रामक तेवर दिखाते हुए गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि पाकिस्तान से प्रताड़ित होकर आए सभी लोगों को भारत की नागरिकता देने तक आराम से नहीं बठूंगा। कानून का विरोध कर रहे विपक्ष पर हमला करते हुए बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा, कांग्रेस वालों आप सीएए का जितना चाहें विरोध करें, लेकिन पाक से उत्पीड़न का शिकार होकर आए हर व्यक्ति को भारत की नागरिकता देने तक शांत नहीं बैठनें वाले है। उन्होंने कहा कि इसतरह के सभी लोगों को सिटिजनशिप देने के बाद ही हम आराम करने वाले है। इससे हमें कोई नहीं रोक सकता। रविवार को कांग्रेस शासित राज्य मध्यप्रदेश में रैली करते हुए शाह ने कहा, भारत में पाकिस्तान से उत्पीड़न के चलते आए हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, ईसाई और पारसी शरणार्थियों के उतने ही अधिकार हैं,जितने हमारे हैं।' इस दौरान शाह ने अयोध्या में 4 महीने में राम मंदिर निर्माण का काम शुरू होने की भी बात कही। रैली में शाह ने राहुल गांधी और ममता बनर्जी को चुनौती देते हुए कहा कि वे सीएए का एक प्रावधान बताएं, जिससे किसी की नागरिकता जाती है।
सीएए के मुद्दे पर कांग्रेस के अलावा तृणमूल कांग्रेस चीफ ममता बनर्जी भी केंद्र सरकार पर हमलावर हैं। इसी के चलते अमित शाह ने कहा, मैं राहुल बाबा और ममता बनर्जी को चुनौती देता हूं कि वे सीएए का एक ऐसा प्रावधान बताएं, जिससे किसी की नागरिकता जा रही हो। आज मैं बताने आया हूं कि सीएए में कहीं पर भी किसी की नागरिकता छीनने का प्रावधान नहीं है, इसमें नागरिकता देने का प्रावधान है। शाह ने सीएए के मुद्दे पर पीछे ना हटने की बात कहते हुए कहा, 'कांग्रेस वालों कान खोल कर सुन लो, जितना विरोध करना है करो, ये सारे लोगों को नागरिकता देकर ही हम दम लेने वाले है। भारत पर जितना अधिकार मेरा और आपका है, उतना ही अधिकार पाकिस्तान से आए हुए शरणार्थियों का है। वे भारत के बेटा-बेटी हैं, वे हमारे भाई हैं।'
शाह ने कांग्रेस पर हमला करते हुए कहा कि जब देश का बंटवारा हुआ और कांग्रेस पार्टी ने देश का बंटवारा धर्म के आधार पर किया। बंटवारे के समय पूर्वी और पश्चिमी पाकिस्तान से हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाई को भारत आना था, मगर उस समय स्थिति सही नहीं होने के कारण वे वहीं रह गए। हमारे देश के सभी नेताओं ने आश्वासन दिया कि आप अभी वहां रह जाइए और आप जब भी कभी भारत आएंगे तो आपका स्वागत किया जाएगा, भारत आपको नागरिकता देगा। इस दौरान गृहमंत्री शाह ने राष्ट्रपति बापू को याद करते हुए कहा, '2 जुलाई 1947 को महात्मा गांधी जी ने कहा जिन लोगों को पाकिस्तान से भगाया गया, जो पाकिस्तान में रह गए हैं, उन्हें पता होना चाहिए कि वे भारत के नागरिक थें, जब भी भारत में आना चाहते हैं भारत उनको नागरिकता देगा। आज सारे कांग्रेसी पूरे देश में सीएए का विरोध कर रहे हैं। जो गांधी जी ने कहा था, राहुल बाबा आप गांधीजी की भी नहीं सुनोगे। महात्मा गांधी जी को तो कब का आपने छोड़ दिया है।'